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अब हाई प्रोफाइल मामलों की जांच पर लगेगा ब्रेक?

नई दिल्ली। सीबीआई के अंदर की अभूतपूर्व घटनाक्रम के बाद अब करप्शन से जुडे हाई प्रोफाइल केस की जांच को पटरी पर लाना सीबीआई के सामने बड़ी चुनौती है। अब तक लगभग सभी राजनीतिक रूप से संवेदनशील मामलों की जांच का जिम्मा राकेश अस्थाना के नेतृत्व वाली जांच टीम के पास था। इन केसों में सबसे अहम विजय माल्या का केस था। सूत्रों के अनुसार अस्थाना इस केस में अभी लंदन भी गए थे। उनके हटने से जांच एजेंसी को माल्या को वापस लाने की कोशिश पर झटका लग सकता है। इसके अलावा करप्शन के कई ऐसे केस हैं, जिनका अपना राजनीतिक महत्व है। इनमें मोईन कुरैशी केस शामिल है, अगस्ता वेस्टलैंड रिश्वत केस भी है, जिनमें यूपीए काल के कई नेताओं के रिश्वत लेने के आरोप लगे थे। कोयला घोटाला की जांच चल रही है। आईआरसीटीसी घोटाला है, जिसमें लालू प्रसाद पूरे परिवार के साथ फंसे हुए हैं। शारदा चिटफंड घोटाला, जिसमें टीएमसी के कई सांसदों पर आरोप है। सीबीआई अधिकारियों ने माना कि नए डायरेक्टर की नियुक्ति के बाद इन केस की जांच नए सिरे से शुरू करने में कम-से-कम एक महीने लग जाएंगे।

सीबीआई के दो शीर्ष अधिकारियों में जंग के कारण केंद्र सरकार ने चीफ आलोक वर्मा और स्पेशल डायरेक्टर राकेश अस्थाना को छुट्टी पर भेज दिया। नए अंतरिम डायरेक्टर के कार्यभार संभालने के कुछ घंटों के अंदर सीबीआई की पूरी टीम बदल दी गई थी। सभी अहम केस से जुड़ी जांच टीम को बदल दी गई। कुल 13 सीनियर अधिकारियों का तबादला हुआ। सीबीआई के विशेष निदेशक राकेश अस्थाना के खिलाफ रिश्वतखोरी के मामले की जांच कर रहे लगभग सभी अधिकारियों को हटा दिया है। सूत्रों के अनुसार, जिन 13 सीबीआई अधिकारियों का तबादला किया गया है, उसमें अस्थाना के खिलाफ आरोपों की जांच कर रहे पुलिस उपाधीक्षक अजय कुमार बस्सी भी शामिल हैं। बस्सी को ‘जनहित’ में तत्काल प्रभाव से पोर्ट ब्लेयर स्थांतरित कर दिया गया है।

अस्थाना के विरूद्ध जांच कर रहे सीबीआई के एसी-3 इकाई के सुपरवाइजरी पुलिस अधीक्षक एस.एस. गुरम को भी तत्काल प्रभाव से मध्यप्रदेश के जबलपुर ट्रांसफर कर दिया गया है। संयुक्त निदेशक (पॉलिसी) अरुण कुमार शर्मा से भ्रष्टाचार रोधी प्रमुख का प्रभार छीन लिया गया है और उन्हें दूसरी जगह तैनाती दी गई है। अस्थाना के खिलाफ जांच की अगुवाई कर रहे उपमहानिरीक्षक मनोज सिन्हा का नागपुर ट्रांसफर कर दिया गया है। सूत्रों के अनुसार, पुलिस अधीक्षक सतीश डागर, उपमहानिरीक्षक तरुण गौबा और संयुक्त निदेशक वी. मुरुगेसन अब अस्थाना के खिलाफ प्राथमिकी की जांच को देखेंगे। सतीश डागर इससे पहले डेरा सच्चा सौदा के प्रमुख गुरमीत राम रहीम सिंह के खिलाफ मामलों की जांच कर चुके हैं।

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