नई दिल्ली ,०२ जून । इस बार राज्यसभा चुनाव आम चुनाव से कम दिलचस्प नहीं लग रहे हैं। राज्यसभा की ५७ सीटों पर होने वाले चुनाव के लिए सभी पार्टियां अपना पूरा जोर लगा रही हैं। वहीं उम्मीदवारों के चयन में कूटनीति के साथ ही पार्टी के अंदर के मतभेद भी सामने आ रहे हैं। भाजपा ने चार राज्यों के लिए चुनाव प्रभारियों की घोषणा कर दी है। कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर को राजस्थान की जिम्मेदारी दी गई है। हरियाणा का जिम्मा गजेंद्र सिंह शेखावत, कर्नाटक का जी किशन रेड्डी और अश्विनी वैष्णव को महाराष्ट्र का प्रभारी नियुक्त किया गया है।
उत्तर प्रदेश की ११ सीटें, सपा से उतरे कपिल सिब्बल
२०२२ में राज्यसभा के लिए सबसे ज्यादा सीटें उत्तर प्रदेश से खाली हैं। उत्तर प्रदेश से कुल ११ सीटें भरी जानी हैं। भाजपा ने लक्ष्मीकांत बाजपेयी, राधामोहन अग्रवाल, सुरेंद्र सिंह नागर, बाबूराम निषाद, दर्शना सिंह, संगीता यादव, मिथलेश कुमार, के लक्ष्मण को टिकट दिया है। वहीं सपा ने कपिल सिब्बल को उतारा है।
उत्तराखंड से १, बिहार से ५, झारखंड से २, हरियाणा, पंजाब, छत्तीसगढ़ से दो-दो, राजस्थान, आंध्र प्रदेश से चार-चार, ओडिशा से तीन, मध्य प्रदेश से तीन, महाराष्ट्र से ६, कर्नाटक से चार, तमिलनाडु से ६ और तेलंगाना से दो सीटें हैं।
दिलचस्प है राजस्थान का मुकाबला
राजस्थान में चार सीटों पर राज्यसभा के लिए चुनाव होने हैं। यहां कांग्रेस और भाजपा के उम्मीदवार आमने सामने हैं। वहां सुभाष चंद्रा के पर्चा दाखिल करने के बाद कांग्रेस के लिए मुश्किल खड़ी हो गई है। वह निर्दलीय उम्मीदवार के रूप में खड़े हैं जिनका समर्थन भाजपा कर रही है। पहले लग रहा था कि तीन सीट कांग्रेस आसानी से जीत जाएगी। कांग्रेस ने मुकुल वासनिक, प्रमोद तिवारी और रणदीप सिंह सुरजेवाला को प्रत्याशी बनाया है तो वहीं भाजपा ने घनश्याम तिवाड़ी को टिकट दिया है।