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पीएम मोदी ने कारीगरों के लिए १३,००० करोड़ रुपये की विश्वकर्मा योजना शुरू की

नई दिल्ली,१८ सितंबर। प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी ने पारंपरिक कारीगरों और शिल्पकारों को समर्थन देने के लिए १३,००० करोड़ रुपये की पीएम विश्वकर्मा योजना शुरू की है। यह योजना कारीगरों को मान्यता, ऋण सहायता, कौशल उन्नयन, टूलकिट प्रोत्साहन, डिजिटल लेनदेन के लिए प्रोत्साहन और विपणन सहायता प्रदान करेगी।
पीएम विश्वकर्मा योजना कारीगरों और शिल्पकारों के जीवन को बेहतर बनाने के सरकार के प्रयासों में एक बड़ा कदम है। यह योजना कारीगरों के कौशल में सुधार करने, उन्हें ऋण और बाजार तक पहुंच प्रदान करने और उन्हें बेहतर आजीविका कमाने में मदद करेगी।
इस योजना से पारंपरिक कला और शिल्प को बढ़ावा देकर भारतीय अर्थव्यवस्था को बढ़ावा मिलने की भी उम्मीद है। भारत में कला और शिल्प की एक समृद्ध परंपरा है और पीएम विश्वकर्मा योजना इस परंपरा को संरक्षित और बढ़ावा देने में मदद करेगी।
भारत में कारीगरों के कल्याण हेतु कार्यरत संस्थाओं का कहना है कि पीएम विश्वकर्मा योजना एक स्वागत योग्य कदम है और आशा है कि यह योजना अपने उद्देश्यों को प्राप्त करने में सफल होगी।
यहां पीएम विश्वकर्मा योजना की कुछ प्रमुख विशेषताएं दी गई हैं:
– यह योजना कारीगरों को पीएम विश्वकर्मा प्रमाणपत्र और आईडी कार्ड प्रदान करेगी, जो उनकी पहचान और कौशल के प्रमाण के रूप में काम करेगा।
– यह योजना कारीगरों को ५% की रियायती ब्याज दर पर ऋण तक पहुंच प्रदान करेगी।
– यह योजना कारीगरों को उनके कौशल और ज्ञान को बेहतर बनाने में मदद करने के लिए कौशल उन्नयन प्रशिक्षण प्रदान करेगी।
– यह योजना कारीगरों को टूलकिट प्रोत्साहन प्रदान करेगी ताकि उन्हें आवश्यक उपकरण और उपकरण खरीदने में मदद मिल सके।
– यह योजना कारीगरों को डिजिटल लेनदेन के लिए प्रोत्साहन प्रदान करेगी ताकि उन्हें डिजिटल भुगतान अपनाने के लिए प्रोत्साहित किया जा सके।
– यह योजना कारीगरों को अपने उत्पाद बेचने में मदद करने के लिए विपणन सहायता प्रदान करेगी।
पीएम विश्वकर्मा योजना से पारंपरिक कारीगरों और शिल्पकारों के ३० लाख से अधिक परिवारों को लाभ होने की उम्मीद है। यह योजना सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम (एमएसएमई) मंत्रालय द्वारा लागू की जाएगी।

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