नई दिल्ली, 12 अगस्त। ऑनलाइन होते इस दौर में क्रिप्टो करेंसी तथा अन्य वित्तीय लेनदेन ऑनलाइन होने के साथ-साथ हैकिंग का खतरा भी बढ़ गया है। हैकर्स समय-समय पर वित्तीय संस्थाओं को चुनौती देकर बड़ी रख में उड़ाते रहे हैं। इसी से जुड़ा एक रोचक घटनाक्रम सामने आया है। हैकर्स ने क्रिप्टोकरेंसी ट्रांस्फरिंग में स्पेशलाइजेशन रखने वाली एक कंपनी को शिकार बनाया और लगभग 600 मिलियन डॉलर यानी 4,468 करोड़ रुपए के क्रिप्टोकरेंसी की चोरी की, जोकि शायद क्रिप्टो के इतिहास में अबतक की सबसे बड़ी चोरी है। लेकिन एक दिन बाद ही चोरों ने लूट के क्रिप्टो में से एक बड़ा हिस्सा लौटा भी दिया। कंपनी ने खुद इसकी जानकारी दी है। कंपनी पॉली नेटवर्क (Poly Network) ने बताया कि हैकरों ने चोरी की क्रिप्टोकरेंसी में एक हिस्सा लौटा दिया है। कंपनी की ओर एक ट्वीट कर कहा गया है कि उसे हैकरों की ओर से चोरी के 600 मिलियन डॉलर की कीमत में क्रिप्टो में से लगभग 4.8 मिलियन डॉलर क्रिप्टो मिल गया है।
हैकरों की ओर से यह कदम तब उठाया गया है, जब साइबर ‘व्हाइट हैट’ सिक्योरिटी एक्सपर्ट इस चोरी की जांच कर रहे हैं और हैकरों को ट्रैक करने की कोशिश कर रहे हैं। ब्लॉकचेन सिस्टम डिफेंस फर्म स्लो मिस्ट (SlowMist) ने इस लूट की कीमत 610 मिलियन डॉलर लगाई है। उसने कहा है कि वो हैकरों के पीछे लगी हुई है। कंपनी ने एक ट्वीट में बताया, सिक्योरिटी टीम को अटैकरों का मेलबॉक्स, आईपी एड्रेस और ऑन-चेन और ऑफ-चेन ट्रैकिंग के जरिए डिवाइस फिंगरप्रिंट मिल गया है। अब वो पॉली नेटवर्क पर किए गए इस हमले के अटैकर की पहचान के सबूतों को ट्रैक कर रही है।’
कंपनी ने हैकरों की ओर से इस्तेमाल किए गए ऑनलाइन एड्रेस भी शेयर किए और ‘इस हैकिंग से प्रभावित ब्लॉकचेन और क्रिप्टो एक्सचेंज को इन एड्रेस से आ रहे टोकन्स को ब्लैकलिस्ट’ करने को कहा था।
पॉली नेटवर्क ने हैकरों को संबोधित करते हुए ट्वीट भी किया। कंपनी ने कहा कि ‘जो अमाउंट आपने हैक किया है, वो इतिहास का सबसे बड़ा अमाउंट है। जो पैसे आपने चुराए हैं, वो क्रिप्टो कम्युनिटी के हजारों सदस्यों के हैं।’ कंपनी ने हैकरों को पुलिस की धमकी दी थी लेकिन यह भी कहा था कि वो ‘साथ मिलकर कोई हल निकालने’ का रास्ता भी दे रही है। हैकिंग की इस बड़ी घटना से क्रिप्टो मार्केट में निवेशकों के चेहरे पर चिंता की रेखाएं बढ़ गई है।
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